मंथन: 23 जून को कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव नहीं होगा, कोरोना महामारी के नेतृत्व ने फैसला किया


न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली

द्वारा प्रकाशित: तनुजा यादव
Updated Mon, 10 मई 2021 03:14 PM IST

सार

कांग्रेस अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी की बैठक में आज कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक हुई। इस बैठक में को -19 के प्रसार और हाल ही में हुए विधानसभा चुनावों में कांग्रेस के प्रदर्शन को लेकर चर्चा हुई।

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सोमवार को दिल्ली में कांग्रेस अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी की बैठक में कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक हुई। बैठक में पार्टी ने अध्यक्ष पद के चुनाव की तारीख का एलान कर दिया था, बैठक में 23 जून को अध्यक्ष के पद का चुनाव करने का फैसला किया गया था, हालांकि महामारी के नेतृत्व में इस एक बार फिर टाल दिया गया है।

सोनिया गांधी की कूद में हुई इस बैठक में देश में कोरोना के व्यापक प्रसार को लेकर चर्चा की गई। इसके अलावा हाल ही में हुए चार राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेशों के चुनाव नतीजों में कांग्रेस के प्रदर्शन पर भी विचार किया गया और आगे की रणनीति तय की गई।

मोदी सरकार की गलती की भारी कीमत रही है
सोनिया गांधी ने बैठक में कहा कि पिछले चार हफ्तों में कोरोनावायरस की स्थिति काफी भयावह हुई है। वहाँ शासन की मूर्तियाँ और बहुत कठिन हो गए हैं। सोनिया गांधी ने कहा कि वैज्ञानिकों की सलाह को पूरी तरह नकारा गया और यह देश मोदी सरकार की गलती की भारी कीमत रहा है।

सोनिया गांधी ने बैठक में आगे कहा कि आंतरिक समुदाय हमारी सहायता के लिए आगे आया। सोनिया गांधी ने आगे कहा कि कांग्रेस की ओर से मैं सभी देशों और संस्थानों को धन्यवाद देना चाहती हूं। इसके अलावा सोनिया गांधी ने कहा कि जब हम सब को विभाजित -19 से व्यस्त हैं तो ऐसे में यह बैठक चुनाव नतीजों पर चर्चा के लिए बुलाई गई है।

चुनाव नतीजों पर निराशा जताना काफी नहीं
सोनिया गांधी ने आगे कहा कि हम अगर कहें कि चुनाव नतीजों से काफी निराश हैं तो ये भी काफी नहीं होंगे। चुनाव नतीजों पर मंथन करने के लिए मैं एक छोटे समूह बनाने पर जोर दे रहा हूं और उम्मीद है कि जल्द ही एक रिपोर्ट के साथ हम दोबारा करेंगे।

वास्तविकता यह नहीं दिख रही है कि आखिर कैसे होगा
सोनिया गांधी ने आगे कहा कि हमें स्पष्ट तौर पर यह समझने की जरूरत है कि केरल और असम में हम क्यों हरे और पश्चिम बंगाल में एक भी सीट अपने नाम नहीं कर पाएंगे। सोनिया गांधी ने कहा कि अगर हम वास्तविकता नहीं देखेंगे तो आगे के लिए सबक कैसे करेंगे। सोनिया गांधी ने आगे कहा कि जब हम 22 जनवरी को मिले थे, तब हमने फैसला किया था कि जून के अंत तक कांग्रेस के अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी।

पीएम गलती स्वीकार करते हैं, निजी एजेंडा छोड़ देते हैं

कांग्रेस कार्यसमिति द्वारा पारित संकल्प में कहा गया है कि यह समय राष्ट्रीय एकता, उद्देश्य और संकल्प की अटूट भावना दिखाने का है। यह एक वास्तविकता बन सकता है, पीएम को अपनी क्षमताओं के लिए वरीयता देना चाहिए और निजी एजेंडा को छोड़कर लोगों की सेवा करने के लिए बहुमुखी स्वभाव होना चाहिए।

पैसों की बर्बादी में लिप्त है मोदी सरकार
कांग्रेस ने सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट का नाम लिए बगैर आरोप लगाया कि मोदी सरकार पीएम के घमंड के कारण राष्ट्रीय राजधानी में परियोजना को जारी रखते हुए पैसे की आपराधिक विंगी में लिपट है। जबकि ऐसे समय में देश के संसाधन आवश्यक दवाएं और ऑक्सीजन के टीकाकरण कवरेज और आपूर्ति के विस्तार को सुनिश्चित करने के काम में आना चाहिए।

विस्तार

सोमवार को दिल्ली में कांग्रेस अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी की बैठक में कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक हुई। बैठक में पार्टी ने अध्यक्ष पद के चुनाव की तारीख का एलान कर दिया था, बैठक में 23 जून को अध्यक्ष के पद का चुनाव करने का फैसला किया गया था, हालांकि महामारी के नेतृत्व में इस एक बार फिर टाल दिया गया है।

सोनिया गांधी की कूद में हुई इस बैठक में देश में कोरोना के व्यापक प्रसार को लेकर चर्चा की गई। इसके अलावा हाल ही में हुए चार राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेशों के चुनाव नतीजों में कांग्रेस के प्रदर्शन पर भी विचार किया गया और आगे की रणनीति तय की गई।

मोदी सरकार की गलती की भारी कीमत रही है

सोनिया गांधी ने बैठक में कहा कि पिछले चार हफ्तों में कोरोनावायरस की स्थिति काफी भयावह हुई है। वहाँ शासन की मूर्तियाँ और बहुत कठिन हो गए हैं। सोनिया गांधी ने कहा कि वैज्ञानिकों की सलाह को पूरी तरह नकारा गया और यह देश मोदी सरकार की गलती की भारी कीमत रहा है।

सोनिया गांधी ने बैठक में आगे कहा कि आंतरिक समुदाय हमारी सहायता के लिए आगे आया। सोनिया गांधी ने आगे कहा कि कांग्रेस की ओर से मैं सभी देशों और संस्थानों को धन्यवाद देना चाहती हूं। इसके अलावा सोनिया गांधी ने कहा कि जब हम सब को विभाजित -19 से व्यस्त हैं तो ऐसे में यह बैठक चुनाव नतीजों पर चर्चा के लिए बुलाई गई है।

चुनाव नतीजों पर निराशा जताना काफी नहीं

सोनिया गांधी ने आगे कहा कि हम अगर कहें कि चुनाव नतीजों से काफी निराश हैं तो ये भी काफी नहीं होंगे। चुनाव नतीजों पर मंथन करने के लिए मैं एक छोटे समूह बनाने पर जोर दे रहा हूं और उम्मीद है कि जल्द ही एक रिपोर्ट के साथ हम दोबारा करेंगे।

वास्तविकता यह नहीं दिख रही है कि आखिर कैसे होगा

सोनिया गांधी ने आगे कहा कि हमें स्पष्ट तौर पर यह समझने की जरूरत है कि केरल और असम में हम क्यों हरे और पश्चिम बंगाल में एक भी सीट अपने नाम नहीं कर पाएंगे। सोनिया गांधी ने कहा कि अगर हम वास्तविकता नहीं देखेंगे तो आगे के लिए सबक कैसे करेंगे। सोनिया गांधी ने आगे कहा कि जब हम 22 जनवरी को मिले थे, तब हमने फैसला किया था कि जून के अंत तक कांग्रेस के अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी।

पीएम गलती स्वीकार करते हैं, निजी एजेंडा छोड़ देते हैं

कांग्रेस कार्यसमिति द्वारा पारित संकल्प में कहा गया है कि यह समय राष्ट्रीय एकता, उद्देश्य और संकल्प की अटूट भावना दिखाने का है। यह एक वास्तविकता बन सकती है, पीएम को अपनी क्षमताओं के लिए वरीयता देना चाहिए और निजी एजेंडा को छोड़कर लोगों की सेवा करने के लिए बहुमुखी स्वभाव होना चाहिए।

पैसों की बर्बादी में लिप्त है मोदी सरकार

कांग्रेस ने सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट का नाम लिए बगैर आरोप लगाया कि मोदी सरकार पीएम के घमंड के कारण राष्ट्रीय राजधानी में परियोजना को जारी रखते हुए पैसे की आपराधिक विंगी में लिपट है। जबकि ऐसे समय में देश के संसाधन आवश्यक दवाएं और ऑक्सीजन के टीकाकरण कवरेज और आपूर्ति के विस्तार को सुनिश्चित करने के काम में आना चाहिए।





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